राजस्थान के जेसलमेर में बीएसएफ के जवानों के लिए तनाव मुक्ति एवं आंतरिक शक्तियों को बढाने पर कार्यशाला का आयोजन किया गया जिसमें माउंट आबू से आये बीके यशपाल, माइंड एवं मेमोरी मेनेजमेंट के ट्रेनर बीके शक्तिराज एवं बीके चंदा समेत सेना के अधिकारी और जवान मौजूद थे।
दो दिन तक चली इस कार्यशाला में बीके सदस्यों ने स्लीप मेनेजमेंट, स्ट्रेस मेनेजमेंट, मेमोरी मेनेजमेंट एवं सेल्फ एम्पावरमेंट के तरीके बताये साथ ही राजयोग मेडीटेशन का अभ्यास कराकर तनाव से मुक्त होने की विधियॉ बताई इस दौरान कोआर्डिनेटर ऑफिसर डी. सी. पवन आनंद ने भी अपने विचार व्यक्त किये व ब्रह्माकुमारीज का आभार माना।
इस दौरान सेना के अनेक अधिकारियों व जवानों ने कार्यशाला का लाभ लिया व जीवन को तनाव मुक्त व खुशनुमा बनाने जैसे कई आवश्यक पहलुओं से अवगत हुये।
सेना के जवान देश की भौतिक रक्षा तो करते ही है लेकिन आज भौतिक सुरक्षा के साथ– साथ मानसिक सुरक्षा करने की भी आवश्यकता है क्योंकि आज तनाव, अनिद्रा जैसी मानसिक बीमारियॉ सभी को हो गई है, इन्हें केवल सकारात्मक चिंतन व राजयोग के अभ्यास से खत्म किया जा सकता है।
ऐसे ही यह कार्यशाला जैसलमेर के साउथ में बीएसएफ की 68वीं बटालियन में भी आयोजित की गई जहॉ बीके शक्तिराज एवं अन्य बीके सदस्यों ने सदा खुश रहने व हारमोनियस रिलेसनशिप, सेल्फ एम्पावरमेंट की विधियॉ बताई साथ ही राजयोग मेडीटेशन का अभ्यास कराकर इसका नियमित अभ्यास करने की सलाह दी।
जीवन के हर क्षेत्र में बेलेंस की बहुत जरूरत है जैसे कब हमें हाथ मिलाने की जरूरत है और कब हमें हथियारों की जरूरत है और यह बेलेंस की कला तब आती है जब जीवन में ईश्वरीय सत्संग हो तथा नैतिक मूल्यों की धारणा हो और इन सभी का आधार है राजयोग है।