आबू रोड के शांतिवन में भी चल रहे सुख और शांतमय जीवन के लिए आध्यात्मिक शिक्षा विषय पर आयोजित राष्ट्रीय सम्मेलन का समापन हो गया है। अखिल भारतीय उच्च माध्यमिक शिक्षकों के महासम्मेलन में विद्यालयों में थाट लैब की आवश्यकता और उपयोग और क्लीन द माइंड एण्ड ग्रीन द अर्थ जैसे अनेक विषयों पर प्रकाश डालते हुए विद्वानों ने शिक्षकों को लाभान्वित किया।
जैसे जीवन में जल का महत्व है वैसे ही बेहतर जिंदगी के लिए शिक्षा के साथ साथ संस्कारों का भी महत्व है, फिर चाहे व्यक्तिगत जीवन हो या व्यवसायिक जीवन। इसीलिए कहा गया है कि एक अच्छी शिक्षा से प्राप्त डिग्री मनुष्य को नौकरी तो दिला देती है लेकिन उस नौकरी में सफलता पाने व आगे बढ़ाने के लिए मनुष्य के अंदर अच्छे संस्कारों का होना जरूरी है जो कि नैतिक मूल्यों को धारण करने से ही आते हैं, और इस महासम्मेलन का लक्ष्य भी यही था कि शिक्षकों में भौतिक के साथ नैतिक शिक्षा के प्रति जागरूकता लाएं और स्वयं भी रोगमुक्त व तनावमुक्त बन सकें ताकि वे आने वाली पीढ़ि का सर्वांगीण विकास कर सकें।
इस दौरान भव्य सांस्कृतिक कार्यक्रमों का भी आयोजन किया गया जिसमें बच्चों के साथ साथ युवाओं ने भी देश प्रेम व भक्तिभाव की सरिता बहा दी।
साथ ही तनावमुक्त जीवन और शिक्षाविदों की चेतना शक्ति के विकास हेतु राजयोग प्रशिक्षण का भी आयोजन किया गया व पूरा कार्यक्रम सफलतापूर्वक संपन्न हुआ।