हर बच्चे के लिए उसके अभिभावक ही उसके पहले गुरु होते हैं, जिनसे वो बोलना, चलना और व्यवहार की अन्य आदतें सीखता है आनंदी अभिभावक ही आनंदी पीढी खडी कर सकते हैं इसीलिए विशेष अभिवावकों के लिए छत्तीसगढ़ के भिलाई स्थित राजयोग भवन के पीस ऑडिटोरियम में ‘बच्चों के जीवन आकाश पर दिव्यता का उदय‘ विषय के तहत पैनल डिस्कसन का आगाज दीप प्रज्वलन कर हुआ पैनेलिस्ट के तौर पर मौजूद पत्रिका के स्थानीय संपादक नितिन त्रिपाठी, सिद्धा ग्रुप की डायरेक्टर सोनाली चक्रवर्ती एवं राजयोग शिक्षिका बीके गीता ने अपने विचार रखे।
इस आयोजन के दौरान डिवाईन गुप के बच्चों ने सुंदर ड्रामा के माध्यम से माता पिता और बच्चों की समस्याओं को प्रस्तुत किया तो वही बीके पोषण ने गीत के लय से सभी में उमंग उत्साह भरा।